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Sunday, June 14, 2015

८६म सगर राति दीप जरय- लकसेना गामक गोष्‍ठीमे ''मधुमाछी'' आ ''पसेनाक धरम'', ऐ दुनू लघु कथा संग्रहक लोकार्पण होएत

पोथी- पसेनाक धरम- 
कथाकार-  जगदीश प्रसाद मण्‍डल
विधा- लघु कथा संग्रह 
प्रकाशन वर्ष- 2015
कुल कथा- 17, एवं शब्‍द- 21331.   
कथा क्रम- 
(1) नहरकन्‍हा- (1209), 11 मार्च 2015
(2) बटखौक- (1272), 14 मार्च 2015
(3) पसेनाक धरम- (1263), 16 मार्च 2015
(4) जेठुआ गरदा- (1103), 18 मार्च 2015
(5) हँसीएमे उड़ि गेलौं- (1243), 20 मार्च 2015
(6) बुड़िबकहा बुड़िबक बनौलक- (1234), 23 मार्च 2015
(7) हमर बाइनिक विचार- (1207), 26 मार्च 2015
(8) नोकरिहारा- (1146), 26 मार्च 2015
(9) घसवाहि- (1213), 28 मार्च 2015
(10) तेतर भाइक कविता- (1319), 1 अप्रैल 2015
(11) छूआ- (1223), 6 अप्रैल 2015
(12) दोसराइत- (1270), 9 अप्रैल 2015
(13) लछनमान- (1173), 13 अप्रैल 2015
(14) हमर कोन दोख- (1527), 17 अप्रैल 2015
(15) मौसी- (1393), 21 अप्रैल 2015
(16) नटकिया गति- (1313), 24 अप्रैल 2015
(17) खाए चाहैए- (1223), 27 अप्रैल 2015
पोथी- मधुमाछी-
कथाकार-  जगदीश प्रसाद मण्‍डल 
विधा- लघु कथा संग्रह 
प्रकाशन वर्ष- 2015
कुल कथा- 9, एवं शब्‍द- 18852.
कथाक्रम-   
(1) मधुमाछी- (1892), 07 मई 2015
(2) दनगर घास- (2775), 13 मई 2015
(3) सझिया खेती- (3135), 23 मई 2015
(4) मुफतिया माल- (3231), 29 मई 2015
(5) मथाहाथ- (2923), 02 जून 2015
(6) पहपटि- (1369), 05 जून 2015
(7) इजोरिया राति- (1512), 07 जून 2015
(8) तीन जुगिया भाय- (2010), 12 जून 2015
(9) अँगनेमे हेरा गेलौं- (605), 14 जून 2015
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